एक वेडी कल्पना.
दीदी ची स्वतःशी गाण्याची अंताक्षरी
आज रियाझ वेगळया प्रकारे करावा
असे दीदी ला वाटले
आणि तिने सुरुवात केली
बैठे बैठे क्या करे
करना है कुछ काम
शुरु करे अंताक्षरी
लेकर प्रभू का नाम
दीदी
द से शुरु ...
...दम भरके मुह फेरे ओह चंदा
मै उनसे प्यार कर लुंगीबाते हजार कर लुंगी
ग....
गुम है किसी के प्यार मे
दिल सुबहा और शाम
पर तुम्हे लीख नही पाऊ मै उस्का नाम
म...
मन डोले, मेरा तन डोले
मेरे दिल का गया क़रार रे
ये कौन बजाए बाँसुरिया?
या...
याद किया दिल ने
कहां हो तुम
झुमती बाहार हो कहां हो तुम
प्यार से पुकार लो जहां हो तुम
प्यार से पुकार लो जहां हो तुम
म...
मोहें भूल गाये सावरिया
मोहे भूल गए साँवरिया, भूल गए साँवरिया
आवन कह गये, अजहुं न आये
ली नी न मोरी खबरिया
मोहे भूल गए...
ए...
ऐ मेरे दिल कही और चल
गम की दुनिया से दिल भर गया
ढुंढ ले अब कोई घर नया
या...
अंताक्षरीला सकाळी सुरुवात झाली
ती दीदी ने दुपारच्या भीमपलासी रागा ने
सांगता केली
आ निले गगन के तले ...
कल्पना करा दीदीने
अंताक्षरी चालू ठेवली असती तर ...
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